घर पर धनिया कैसे उगांए.
घर पर धनिया उगाना कोई बडी बात नही है। अगर आप पहेलीबार घर पर धनिया लगा रहे है तो ये लेख आवश्यक पढें. इससे आपको ऐसी टीप्स मिलेगी जो आप कभी धनिया बोने के बारे में दुबारा गलती नही करेंगे.
धनिया का पत्ता हमारे भारतीय खानपान के संस्कृती का अभिन्न अंग है। यह एक असरदार स्वाद देने वाला सुंगधी वनस्पती है। धनिया पत्ते को ऐग्रेजी में Coriander leaves कहेते है, तो मराठी में कोथमीर कहते है। खाने के थाली को हरे रंग की पत्तीयों से सजाने से ताजे मसाले में, पाचक रस तयार करने के औषधी उपयोग से लेके मुखवास में इसका ईस्तेमाल होता है। धनिया के पत्ते, धनिया के बीज और धनिया दाल इसका अलग अलग स्तरपर आवश्यक उपयोग होता है। धनिया को बडे घमले की जरूरत नही है। यह पत्तो की सब्जी की तरह बढती है। ईसको जड के लिए कमसे कम चार इंच का गहराई वाला कोई भी घमला चलेगा. घमले के रूप में आप छोटे छोटे दही, श्रीखंड के डिब्बे भी चलेंगे. आपको घमला पहेले सुखे पत्ते या सुखे किचन वेस्ट से भरना है. ईसमे आपको दो ईंची मिट्टी और खाद डालना है। पानी से रातभर मिट्टी को भिगा दे. उसमे नमी बना रहे ईतना ही भिगाना है। भिगने के बाद बिज को अपने दो उंगली मे चार चार दाने सिमटकर एक एक इंच मिट्टी में छिपाना है। दोनों में अंतर चार चार उंगली हो तो अच्छा रहे. बिज आपको श्याम के वक्त लगाना है। रोज हलकासा पानी दे.. शुरवात के दिन में उनको कडी धूप में ना दिखाएं. धनिया के बिज एक – एक लेकर बोएंगे तो कुछ दिन बात लुढक जाते है। लेकीन उसको चार चार दाने साथ बोयेंगे तो एक दुसरे के साथ वो बढते है. बारिश में लगाएंगे तो सिधा बिज आप जमीन में बो सकते है। लेकीन थंड और गर्मी के मोसम में बोएंगे तो उसको दिनभर पानी में भिगाकर रात को जमिन में छिपाए. खयाल रहे… धनिया है बढी औषधी वनस्पती है। उसको हायड्रोपोनिक्स की तरह ना उगाएं उसमें सिर्फ जल, वायू, अग्नी तत्व समाएंगे. अगर उसमें मिट्टी में उगांएगे तो उसमे भूतत्व भी शामिल हो जाते है। आपको यह लेख कैसा लगा आवश्यक बताएं.
संदीप चव्हाण, गच्चीवरची बाग, नाशिक. 9850569644 / 8087475242